दावा: एसटीएफ के पास पेपर लीक का प्रमाण नहीं

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डॉ. केएन काटजू इंटर कॉलेज के प्रधानाचार्य और शिक्षकों ने कथित पेपर लीक की घटना को विद्यालय में एक शिक्षक से चल रही आपसी रंजिश का परिणाम बताया है। प्रधानाचार्य और शिक्षकों का कहना है विद्यालय के एक शिक्षक ने विरोधी तत्वों से मिलकर साजिशन प्रधानाचार्य और शिक्षकों को इस मामले में फंसाया है। उसी की सूचना पर एसटीएफ कॉलेज में जांच करने के लिए आई थी। इनका दावा है कि एसटीएफ को पेपर लीक का कोई पुख्ता प्रमाण नहीं मिला है।

इनका कहना है कि अभी तक पेपर लीक की पुष्टि नहीं हुई है। परीक्षा आयोजित करने वाले परीक्षा नियामक प्राधिकारी ने भी विज्ञप्ति जारी कर पेपर लीक से इनकार किया है। प्रधानाचार्य की जिस पुत्री को पेपर लीक कर अनुचित लाभ पहुंचाने की बात कही जा रही है, वह परीक्षा में असफल रही है। प्रधानाचार्य और शिक्षकों का कहना है कि इस मामले में उन्हें, उप प्रधानाचार्य और एक शिक्षक को निलंबत किया गया था। बकौल प्रधानाचार्य 27 अक्तूबर को वह और एक शिक्षक इस मामले में जेल से छूटे। नौ नवंबर को उन्हें बहाल कर दिया गया और दोनों ने 11 नवंबर को कार्यभार ग्रहण कर लिया है। उप प्रधानाचार्य भी निलंबित किए गए थे, जिन्हें बहाल कर दिया गया है पर अभी उन्होंने कार्यभार ग्रहण नहीं किया है।


कॉलेज के प्रधानाचार्य और शिक्षक इस पूरे मामले से व्यथित हैं और कॉलेज के उस शिक्षक के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है, जिस पर उन्हें इस पूरे मामले की साजिश रचने का शक है। शिक्षकों की ओर से कॉलेज के प्रबंधक को ज्ञापन देकर कहा गया है कि यह शिक्षक कॉलेज के मैदान पर अवैध तरीके से क्रिकेट कोचिंग चला रहा है, जिसमें लगभग सभी बाहरी लड़कियां हैं। शिक्षक पर कई और गंभीर आरोप लगाते हुए क्रिकेट की कोचिंग तत्काल बंद करवाने की मांग की है। बता दें कि 17 अक्टूबर को हुई सहायता प्राप्त जूनियर हाईस्कूल शिक्षकों और प्रधानाध्यापकों की भर्ती परीक्षा में इस कॉलेज के प्रधानाचार्य और शिक्षकों पर पेपर लीक कराने के आरोप लगे थे।

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